Lal Bahadur Shastri Jayanti In Hindi – हेलो दोस्तों SarkariExamHelp.com में आपका स्वागत है। सबसे पहले आप श्री लाल बहादुर शास्त्री जी के जन्मदिन की हार्दिक बधाई। दोस्तों बहुत ही कम लोगों को पता होगा या याद होगा कि 2 अक्टूबर सिर्फ महात्मा गांधी की जयंती ही नहीं बल्कि हमारे देश के दूसरे प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री की भी जयंती 2 अक्टूबर को मनाया जाता है।
लाल बहादुर शास्त्री – जीवन परिचय
श्री लाल बहादुर शास्त्री जी का जन्म 2 अक्टूबर 1960 को उत्तर प्रदेश के बनारस से 7 मील दूर एक छोटे से रेलवे टाउन मुगलसराय में हुआ था। लाल बहादुर शास्त्री के पिता एक स्कूली शिक्षक जब लाल बहादुर शास्त्री केवल डेढ़ साल के थे तभी उनके पिता का देहांत हो गया। लाल बहादुर शास्त्री की मां अपने तीन बच्चों के साथ शास्त्री जी के नाना के घर में रहने लगे। वही उनकी स्कूली शिक्षा और बचपन बीता। गरीबी स्थिति होने के कारण लाल बहादुर शास्त्री का बचपन कुछ खास नहीं किंतु खुशहाल जरूर बीता। आर्थिक तंगी के कारण उन्हें कई मील दूर नंगे पांव ही अपने स्कूल जाना पड़ता था। लाल बहादुर शास्त्री जी के परिवार का आजादी के संघर्ष में किसी भी तरह का कोई समर्थन नहीं था। किंतु बड़े होने के बाद लाल बहादुर शास्त्री जी का आजादी और देशभक्ति के प्रति काफी रूचि लेने लगे।
भारत में ब्रिटिश शासन का समर्थन कर रहे भारतीय राजाओं की महात्मा गांधी द्वारा की गई निंदा से अत्यंत प्रभावित हुए थे। जब केवल 11 वर्ष के थे तभी उन्होंने राष्ट्रीय स्तर पर कुछ करने का ही मन बना लिया था। गांधीजी जब असहयोग आंदोलन चलाया तब वह उस में शामिल होने के लिए अपने देशवासियों से आह्वान करने लगे। हमेशा से विनम्र दिखने वाली लाल बहादुर शास्त्री अंदर से चट्टान की तरह मजबूत और दृढ़ है। 1927 में उनकी शादी ललिता देवी से हुई जोकि मिर्जापुर की रहने वाली थी उनकी शादी भारतीय पारंपरिक तरीके से हुई।
अपनी समर्पित सेवा अपनी उदित निष्ठा एवं क्षमता के लिए लोगों के बीच लाल बहादुर शास्त्री बहुत ही प्रसिद्ध है। विनम्र धरण सहित गुण एवं जबरदस्त आंतरिक शक्ति वाले लाल बहादुर शास्त्री जी लोगों के बीच एक ऐसे व्यक्ति हैं। उनकी छवि इस प्रकार उभरती है जो लोगों की भावनाओं को समझने वाले हैं। वे दूरदर्शी थे जो देश को प्रगति के मार्ग पर लेकर चलते रहे।
महात्मा गांधी और लाल बहादुर शास्त्री के बारे में
लाल बहादुर शास्त्री जी महात्मा गांधी के राजनीतिक शिक्षाओं से बहुत ही ज्यादा प्रभावित थे। वह उन्हें अपना गुरु मानते थे। लाल बहादुर शास्त्री हमेशा कहते थे कि मेहनत प्रार्थना करने के समान ही है। लाल बहादुर शास्त्री जी भी महात्मा गांधी के समान ही अपना विचार रखने वाले थे।
वह भारतीय संस्कृति की श्रेष्ठ पहचान है। लाल बहादुर शास्त्री जी में नेतृत्व क्षमता और निर्णायक क्षमता का सबने लोहा माना है। उनके संगठित प्रतिभा एवं चीजों को नजदीक से परखने की अद्भुत क्षमता को सबने माना है। आजादी के बाद वह कई महत्वपूर्ण पदों पर रहे। वह अपने गृह राज्य उत्तर प्रदेश का संसदीय सचिव नियुक्त हुए। फिर जल्दी ही वे गृह मंत्री भी बने।
लाल बहादुर शास्त्री का रेल मंत्री पद से इस्तीफा
1951 के बाद वह केंद्रीय मंत्रिमंडल के कई विभागों का प्रभार संभाला जैसे रेल मंत्री, परिवहन एवं संचार मंत्री, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री, गृह मंत्री एवं कुछ समय के लिए नेहरू जी के बीमारी के दौरान बिना विभाग के भी मंत्री रहे। इस दौरान उनकी प्रतिष्ठा लगातार बढ़ती रही। फिर वह एक रेल मंत्री भी रहे। रेल मंत्री होते हुए एक बार रेल दुर्घटना में कई लोग मारे गए जिसके जिम्मेदार मानते हुए रेल मंत्री पद से अपना इस्तीफा दे दिया।
नेहरू जी के बाद देश के दूसरे प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री ने अपने कार्यकाल के दौरान ही देश को कई संकटों से उभारा है। उनकी विपक्षी भी उन्हें साफ-सुथरी छवि के कारण ही आज भी याद करते हैं।
लाल बहादुर शास्त्री देश के दूसरे प्रधानमंत्री बने
लाल बहादुर शास्त्री जी को 1964 में देश का दूसरा प्रधानमंत्री बनाया गया 1966 में उनके मरणोपरांत ने भारत रत्न का पुरस्कार भी मिला।
‘जय जवान जय किसान‘ का नारा लाल बहादुर शास्त्री द्वारा ही दिया गया। इससे भारत की जनता का मनोबल बढ़ता है और सब एकजुट हो गए इसकी कल्पना भी पाकिस्तान कभी नहीं कर पाया होगा। शास्त्रीजी को उनकी सादगी देशभक्ति और ईमानदारी के लिए आज भी पूरा भारत श्रद्धा पूर्वक श्रद्धांजलि अर्पित करता है।
आप हमसे Facebook Page , Twitter or Instagram से भी जुड़ सकते है Daily updates के लिए.
इसे भी पढ़ें:
- Dr. BR Ambedkar Jayanti In Hindi – बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर जयन्ती की पूरी जानकारी
- 23 जनवरी स्वतंत्र सेनानी नेताजी सुभाषचन्द्र बोस की 125वीं जयंती / 23 January 125th Jayanti Of Independent Fighter Netaji Subhash Chandra Bose
- Mahavir Jayanti In Hindi – महावीर जयंती के बारे में जानकारी पाये
- गुरु पूर्णिमा 2021 – 24 जुलाई 2021 को मनाया जाएगा गुरु पूर्णिमा का पर्व
- Bihar Diwas 2021 In Hindi – बिहार दिवस कब और क्यों मनाया जाता है?
- World Radio Day In Hindi: विश्व रेडियो दिवस 13 फरवरी को क्यों मनाया जाता है? | जाने पूरी जानकारी हिंदी में
- 15 सितंबर को इंजीनियर्स डे क्यों मनाया जाता है? | Why We Celebrate Engineer’s Day On 15 September
- अटल बिहारी वाजपेयी – सम्पूर्ण जीवन परिचय
- Mangal Pandey Biography In Hindi | मंगल पांडे का इतिहास और जीवन परिचय
- बिहार सरकार की कल्याणकारी सरकारी योजना की सूची एवं विकास कार्यक्रम | List Of Welfare Schemes And Development Program Of Bihar Government
- राष्ट्रीय खेल दिवस 2021 | National Sports Day In Hindi